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पत्नी के हत्यारे पति को आजीवन करावास, 20 हजार का अर्थ दण्ड


शम्भू शरण मिश्र / हरिगोविंद
टाइम्स ऑफ़ कुशीनगर ब्यूरो
पडरौना, कुुशीनगर। उत्तर प्रदेश के कुशीनगर में अपर सत्र न्यायाधीश फास्ट ट्रैक द्वितीय विनय कुमार की अदालत ने बुधवार को पत्नी के हत्यारोपित पति को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही 20 हजार के अर्थदंड से दण्डित किया है। हत्या का यह मामला कसया थानाक्षेत्र के कुड़वा दिलीपनगर का है। यह भी पढ़े मां की गोद से गिरे नवजात को डंफर ने रौदा, मौत

जानकारी के अनुसार कसया के बटेसरा माफी टोला निवासी केश्वर ने 27 जून-11 को कसया थाने में तहरीर देकर बताया था कि उसने अपनी बेटी आशा की शादी वर्ष 2008 में कसया के ही कुड़वा उर्फ दिलीपनगर गोंगिया भागी टोला निवासी अमित पुत्र बलेसर से की थी। उसकी बेटी गर्भवती थी। वर्ष 2011 में दहेज के रूप में अमित व उसकी मां सुभावती 40 हजार रुपए की मांग करने लगे। उसने जब देने में असमर्थता जताई तो दोनों ने एक सहयोगी सिंहासन के साथ मिलकर साजिशन आशा की हत्या कर दी। इस तहरीर के आधार पर पुलिस ने तीनों के खिलाफ दहेज हत्या, गैर इरादत हत्या व दहेज प्रतिषेध अधिनियम के तहत केस दर्ज कर लिया।
यह भी पढ़े पुरानी पेंशन पर दोहरी निति नही चलेगी मामले की विवेचना तत्कालीन सीओ कसया वीवी चैरसिया ने की। विवेचना में सिंहासन को दोषी नहीं पाया गया और अमित व सुभावती के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया गया। दोनों की गिरफ्तारी हुई, जिनमें से सुभावती जमानत पर चल रही है। इस मामले में तथ्य के चार साक्षी और दो औपचारिक साक्षियों की गवाही अभियोजन पक्ष ने कराई।
नारायणी नदी के एपीआई तटबंध को बचने में लगा विभाग इस सम्बन्ध में सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता ने अभय कुमार त्रिपाठी ने बताया कि तथ्यों के साक्षी पक्षद्रोही हो गए, लेकिन औपचारिक साक्षियों के बयान व दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद अदालत ने अमित को धारा 302 भादवि के तहत दोषी पाया और उसे आजीवन कारावास व 20 हजार रुपए के अर्थदंड की सजा से दंडित किया गया।

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